निदेशालय के बाहर B.Ed व BTC अभ्यर्थियों ने किया प्रदर्शन, जमकर लगाए नारे
69 हजार शिक्षक भर्ती मामला एक बार फिर गर्मा गया। शिक्षक भर्ती से जुड़े अभ्यर्थियों ने बेसिक शिक्षा निदेशालय घेर लिया। अभ्यर्थियों ने मांग पूरी न होने...
69 हजार शिक्षक भर्ती मामला एक बार फिर गर्मा गया। शिक्षक भर्ती से जुड़े अभ्यर्थियों ने बेसिक शिक्षा निदेशालय घेर लिया। अभ्यर्थियों ने मांग पूरी न होने...
69 हजार शिक्षक भर्ती मामला एक बार फिर गर्मा गया। शिक्षक भर्ती से जुड़े अभ्यर्थियों ने बेसिक शिक्षा निदेशालय घेर लिया। अभ्यर्थियों ने मांग पूरी न होने तक धरने पर बैठे रहने का ऐलान किया। अभ्यर्थियों ने जोरदार प्रदर्शन करते हुए नारेबाजी भी की।
बुधवार को निशातगंज स्थित शिक्षा निदेशालय पर सुबह से ही बड़ी संख्या में अभ्यर्थी एकत्र हो गए। अभ्यर्थियों ने मांगों को लेकर प्रदर्शन शुरू कर दिया। अभ्यर्थियों का कहना था कि दायर याचिका में छठी बार सुनवाई में पांच सितंबर को सरकारी अधिवक्ता मौजूद नहीं हुए। सुनवाई न होने के कारण उनका भविष्य खतरे में हैं।
बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक स्कूलों में 69 हजार शिक्षक भर्ती के लिए छह जनवरी को लिखित परीक्षा कराई गई थी। इन पदों के लिए करीब साढ़े चार लाख अभ्यर्थियों ने इम्तिहान दिया है। परीक्षा के बाद शासन ने भर्ती का कटऑफ अंक तय किया।
इसमें सामान्य वर्ग के अभ्यर्थी को 65 प्रतिशत व आरक्षित वर्ग को 60 फीसदी अंक पाना अनिवार्य किया गया। इसका अभ्यर्थियों के एक वर्ग खासकर शिक्षामित्रों ने कड़ा विरोध किया, साथ ही इसे हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ में चुनौती दी।
याचियों का कहना है कि 68500 शिक्षक भर्ती में जिस तरह सामान्य व ओबीसी का 45 और एससी-एसटी का कटऑफ 40 प्रतिशत अंक तय किए गए थे, उसी के अनुरूप कटऑफ घोषित हो। शासन का तर्क था।
68500 शिक्षक भर्ती में दावेदार महज एक लाख से अधिक थे, जबकि 69 हजार शिक्षक भर्ती के लिए साढ़े चार लाख दावेदार हैं तो कटऑफ बढऩा तय है, तभी काबिल शिक्षक मिलेंगे। साथ ही सीटों से अधिक अभ्यर्थी सफल होने से उन्हें कोई लाभ नहीं होगा। मामला फिलहाल उच्च न्यायालय में विचाराधीन है।