मैंने तो मना किया था लेकिन अब्बा नहीं माने

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मैंने तो मना किया था लेकिन अब्बा नहीं माने

मैंने तो जाने से रोका था, लेकिन अब्बा और चच्चा के कहने पर असद ने हत्याकांड को अंजाम दिया था। अब्बा ने कहा था बेटे असद को जाने दो, अब एक नहीं बल्कि पांच अतीक होंगे। नैनी सेंट्रल जेल में बंद माफिया अतीक के बेटे अली ने उमेश पाल और उनके दो सरकारी गनर की हत्याकांड को लेकर चौंकाने वाला राजफाश किया है।

अली ने पुलिस के सामने बयान दिया है कि उसने हत्या की योजना में असद को शामिल करने से मना किया था। फोन पर अब्बा और चच्चा से कहा था कि उमेश पाल को तो कोई भी मार देगा, लेकिन वह नहीं माने। इसके बाद असद को शूटरों को साथ भेजने को कहा। फख्र भी किया कि उसके पांच बेटे हैं और अब एक नहीं बल्कि पांच अतीक होंगे। इसके अलावा अली ने कई और राज भी खोले हैं।

धूमनगंज के जयंतीपुर मोहल्ले में 24 फरवरी की शाम उमेश पाल और उसके दो सरकारी गनर की गोली, बम मारकर हत्या की गई थी। इस सनसनीखेज हत्याकांड के बाद पूरे प्रदेश में खलबली मच गई थी। बाद में एसटीएफ के साथ हुई मुठभेड़ में असद व शूटर गुलाम भी ढेर हो गए थे। उमेश पाल हत्याकांड के मुकदमे में अतीक के बेटे जेल में बंद अली अहमद व उमर को भी साजिशकर्ता के रूप में अभियुक्त बनाया गया है।

पुलिस का कहना है कि हत्याकांड की विवेचना कर रहे एसीपी धूमनगंज वरुण कुमार ने अदालत से अनुमति लेकर नैनी जेल में अली का बयान अंकित किया। इस दौरान उसने हत्याकांड को लेकर कई खुलासे किए हैं। इसमें कई तथ्य विवेचना के दौरान संकलित किए गए साक्ष्य और दूसरे के बयानों से भी मेल खाते हैं। फिलहाल, इस मामले में अली के बयान के आधार पर अब विवेचना को आगे बढ़ाया जा रहा है।

पुलिस का कहना है कि अली ने अपने बयान में यह भी बताया कि चाचा अशरफ के कहने पर ही उसके नाबालिग छोटे भाइयों ने फेसटाइम पर अलग-अलग नाम से आइडी बनाई थी। अतीक के परिवार के सदस्यों से लेकर अधिवक्ता और शूटरों को आइफोन दिया गया था। घटना के वक्त नाबालिग रहे भाइयों ने आइडी तैयार की थी। असद की आईडी ठाकुर के नाम से बनाई गई थी।

उमेश पाल हत्याकांड के लिए कोल्ड पिस्टल सहित दूसरे सेमी आटोमेटिक असलहों का इंतजाम अतीक और अशरफ ने किया था। यह बात भी अली ने बताई है, लेकिन हथियार किसने लाकर दिए थे, इसके बारे में वह कुछ नहीं बता पाया है। हत्याकांड के बाद पुलिस ने अतीक के ढहाए गए कार्यालय से कई पिस्टल, कारतूस और नकदी बरामद किया था।

वारदात को अंजाम देने से पहले शूटर गुलाम, बमबाज गुड्डू मुस्लिम और साजिशकर्ता सदाकत 13 फरवरी 2023 को नैनी जेल में अली से मिलने के लिए गए थे। पुलिस के सामने अली ने हत्या की साजिश में शामिल होने का इकबालिया बयान भी दिया है। पुलिस के पास शूटरों का जेल जाने और वहां से आने का वैज्ञानिक साक्ष्य भी मौजूद है। पुलिस का कहना है कि शूटरों ने उमेश पाल को मारने के लिए दो बार प्रयास किया था। एक बार सिविल लाइंस के धोबीघाट चौराहे के पास घेरेबंदी कर हत्या करने की कोशिश की थी। दूसरी बार कचहरी के चौरासी खंभे के पास हत्या का प्रयास किया था, लेक‍िन दोनों बार असफल रहने पर अली नाराज हो गया था। उसने गुलाम, गुड्डू समेत अन्य से कहा था कि इस बार उमेश को फाइनली टपका देना है।

प्रापर्टी डीलर मोहित का अपहरण करने और देवरिया जेल ले जाकर पिटाई करने के मुकदमे में अतीक का बड़ा बेटा उमर लखनऊ जेल में बंद है। उसे भी उमेश पाल हत्याकांड में अभियुक्त बनाया गया है। कहा गया है कि इस मामले में अली के बाद अब उमर का बयान अंकित किया जाएगा। उससे अली द्वारा दी गई जानकारी के बारे में भी सवाल किए जाने की बात कही जा रही है।

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