लॉकडाउन के कारण कंपनीयों को हुआ 1.50 लाख करोंड़ का फायदा
शेयर बाजारों में हाल के दौरान नई लिस्ट होनेवाली कंपनियों ने निवेशकों को बंपर फायदा दिया है। यह फायदा ऐसे समय में दिया है, जब कोरोना की वजह से देश में...
शेयर बाजारों में हाल के दौरान नई लिस्ट होनेवाली कंपनियों ने निवेशकों को बंपर फायदा दिया है। यह फायदा ऐसे समय में दिया है, जब कोरोना की वजह से देश में...
शेयर बाजारों में हाल के दौरान नई लिस्ट होनेवाली कंपनियों ने निवेशकों को बंपर फायदा दिया है। यह फायदा ऐसे समय में दिया है, जब कोरोना की वजह से देश में लॉकडाउन लग हुआ था। देश में कुल लिस्टेड करीबन 4 हजार कंपनियों ने जुलाई से सितंबर की दूसरी तिमाही में 1.5 लाख करोड़ रुपए का लाभ दर्ज किया है। किसी एक तिमाही में सबसे ज्यादा फायदा
आंकड़े बताते हैं कि किसी भी एक तिमाही में यह अब तक का सबसे ज्यादा फायदा है। सेंटर ऑफ मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी के आंकड़े बताते हैं कि वित्त वर्ष 2014 की चौथी तिमाही में अब तक का सबसे ज्यादा फायदा कंपनियों ने दिया था। उस तिमाही में कुल 1.18 लाख करोड़ करोड़ रुपए का फायदा कंपनियों को हुआ था। उसकी तुलना में चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही का लाभ करीबन 31 पर्सेंट ज्यादा है।
सीएमआईई के आंकड़ों ने दी जानकारी
के आंकड़े बताते हैं कि कुल 4,854 कंपनियां बाजार में लिस्टेड हैं। इसमें से 4,076 कंपनियों का लाभ 171 पर्सेंट बढ़ा है। यह एक साल पहले 57 हजार करोड़ रुपए था। बैंक और गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियां, कंस्ट्रक्शन कंपनियां आदि दूसरी तिमाही में विकास में मदद की हैं। करीबन आधा फायदा मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों से मिला है। 1,675 लिस्टेड मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों ने 72 हजार 600 करोड़ रुपए का मुनाफा दिखाया है। जो कि 4,076 कंपनियों के कुल लाभ का 47% है।
मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों का मुनाफा किसी तिमाही में सबसे ज्यादा
सीएमआईई के आंकड़े बताते हैं कि लिस्टेड मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों का यह फायदा अब तक किसी एक तिमाही में सबसे ज्यादा रहा है। यह 2019 की पहली तिमाही में अब तक के सबसे ज्यादा 62,200 करोड़ रुपए की तुलना में 16.7% अधिक है। आंकड़े बताते हैं कि मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों ने यह बंपर फायदा तब दिया है, जब उनकी बिक्री में 96 हजार 100 करोड़ रुपए की कमी आई है। उनके ऑपरेटिंग खर्च में 1.3 लाख करोड़ रुपए की कमी आई है।
ऑपरेटिंग खर्च में ज्यादा कमी आई है
ऑपरेटिंग खर्च में ज्यादा कमी इसलिए आई है क्योंकि कच्ची सामग्री और फिनिश्ड गुड्स पर कम खर्च हुआ है। यह करीबन 1.2 लाख करोड़ रुपए कम रहा है। अन्य आय में कमी, एक्स्ट्राआर्डिनरी आय में कमी, ज्यादा प्रोविजन और ज्यादा टैक्स ने कंपनियों के फायदे पर दबाव डाला है। बावजूद इसके इन कंपनियों ने रिकॉर्ड मुनाफा जुलाई-सितंबर तिमाही में दिखाया है।
गैर फाइनेंस वाली कंपनियों का भी मुनाफा बढ़ा
हालांकि गैर फाइनेंस सेवाओं वाली कंपनियों के मुनाफे में भी थोड़ी बहुत ज्यादा बढ़त दिखी है। दूसरी ओर बैंक सेक्टर के लिए भी यह तिमाही ठीक रही है। उनकी ऑपरेशन से आय में 10.7% की बढ़त हुई है। अन्य आय में भी 10% की बढ़त दिखी है। बता दें कि चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में भले लॉकडाउन का असर दिखा हो, लेकिन दूसरी तिमाही में कंपनियों की अर्निंग बेहतर रही है। कई कंपनियों ने तो अब तक का रिकॉर्ड मुनाफा दिखाया है। खासकर बैंकिंग, फाइनेंशियल, आईटी और फार्मा कंपनियों ने अच्छा रिजल्ट दिया है।
अदिती गुप्ता