विद्यार्थी भविष्य की तकनीकी चुनौतियों के लिए भी पूरी तरह तैयार होंः प्रो0 अनूप कुमार

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विद्यार्थी भविष्य की तकनीकी चुनौतियों के लिए भी पूरी तरह तैयार होंः प्रो0 अनूप कुमार
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मीडिया क्षेत्र में एआई का प्रयोग तेजी से बढ़ रहा हैः डाॅ0 मनीष जैसल

अयोध्या। डॉ. राममनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय के जनसंचार एवं पत्रकारिता विभाग द्वारा एक दिवसीय विशेष कार्यशाला “एआई फॉर डिजिटल रेडीनेस एंड एडवांसमेंट” (अडीरा) का आयोजन किया गया। यह कार्यशाला हाइब्रिड मोड में सुबह 11 बजे प्रारंभ हुई और इसमें पत्रकारिता एवं मीडिया अध्ययन के विद्यार्थियों की बढ़चढ़ कर भागीदारी रही।

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए अवध विवि के एमसीजे समन्वयक प्रो0 अनूप कुमार ने कहा कि हमारे विद्यार्थी केवल पारंपरिक शिक्षा तक सीमित न रहें, बल्कि भविष्य की तकनीकी चुनौतियों के लिए भी पूरी तरह तैयार हों। ऐसी पहल हमारे विद्यार्थियों को नयी तकनीकों के साथ जिम्मेदार तरीके से जुड़ने का अवसर देती है। उन्होंने बताया कि मीडिया शिक्षा में डिजिटल रेडीनेस और एआई साक्षरता अब अनिवार्य हो गई है। इस तरह की कार्यशालाएं छात्रों को तकनीकी दक्षता के साथ पत्रकारिता की नैतिकता भी सिखाती हैं, ताकि वे समाज की विश्वसनीय सूचना का स्रोत बन सकें।

कार्यशाला के बतौर ट्रेनर डॉ. मनीष जैसल, अडीरा ट्रेनर एवं सहायक आचार्य, आईटीएम विश्वविद्यालय, ग्वालियर ने अपने उद्बोधन में बताया कि आज मीडिया क्षेत्र में एआई का प्रयोग समाचार लेखन, ग्राफिक डिजाइन, वीडियो प्रोडक्शन, और तथ्य-जांच में तेजी से बढ़ रहा है। उन्होंने विद्यार्थियों को कई प्रचलित एआई टूल्स के बारे में बताया और उनका लाइव डेमो भी दिया, जिनमें लेखन व विचार निर्माण, ग्राफिक डिजाइन, चित्र निर्माण, सूचना खोज व कंटेंट सुझाव, भाषाई सुधार, ऑडियो-वीडियो संपादन, वीडियो संक्षेपण तथा फर्जी वीडियो पहचान शामिल रहे।

कार्यशाला के समन्वयक डाॅ0 विजयेन्दु चतुर्वेदी ने बताया कि यह प्रशिक्षण (एआई फॉर डिजिटल रेडीनेस एंड एडवांसमेंट) अडीरा पहल के अंतर्गत आयोजित किया गया। अडीरा का उद्देश्य विभिन्न क्षेत्रों विशेष रूप से मीडिया, शिक्षा और व्यवसाय में कार्यरत विद्यार्थियों व पेशेवरों को कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) और डिजिटल उपकरणों के सही, सुरक्षित एवं रचनात्मक उपयोग के लिए तैयार करना है। इस पहल के अन्तर्गत प्रतिभागियों को न केवल तकनीकी ज्ञान दिया गया बल्कि उन्हें डिजिटल नैतिकता, डेटा सुरक्षा, और फेक कंटेंट पहचान जैसे अहम विषयों पर भी प्रशिक्षित किया गया। कार्यशाला का संचालन डाॅ0 चतुर्वेदी ने किया। अतिथियों के प्रति धन्यवाद ज्ञापन डाॅ0 आरएन पाण्डेय द्वारा किया गया। इस कार्यशाला में बैचलर आॅफ वोकेशनल व एमए एमसीजे के विद्यार्थी प्रशिक्षित किए गए।

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