गोवा स्पीकर ने अपनी ही पार्टी के मंत्री को किया बेनकाब, विपक्ष ने मांगा मंत्री गौडे का इस्तीफा

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गोवा स्पीकर ने अपनी ही पार्टी के मंत्री को किया बेनकाब, विपक्ष ने मांगा मंत्री गौडे का इस्तीफा
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कला एवं संस्कृति मंत्री गोविंद गौडे पर ‘विशेष अनुदान’ के कथित दुरुपयोग के आरोपों के बाद गोवा में विपक्षी दलों ने उनका इस्तीफा मांगा है।

गोवा विधानसभा अध्यक्ष व एसटी समुदाय के वरिष्ठ भाजपा नेता रमेश तावडकर ने कहा कि वह मंत्री की अनुशासनहीनता को बर्दाश्त नहीं करेंगे।

तावडकर ने कहा, “मैं पहली बार ऐसी घटना देख रहा हूं कि मेरी सरकार का कोई मंत्री गैर-जिम्मेदाराना व्यवहार कर रहा है, अनुशासनहीन है और प्रोटोकॉल का पालन नहीं कर रहा है। मुझे इस बात का दुख है। ऐसा नहीं होना चाहिए। मैं इसे बर्दाश्त नहीं करुंगा।”

उनके अनुसार, कला और संस्कृति विभाग ने उन परिवारों को धन जारी किया है, जिन्होंने कई संगठन बनाए हैं, और उन कार्यक्रमों को आयोजित करने में विफल रहे हैं जिनके लिए अनुदान जारी किया गया था।

तावडकर द्वारा अपनी ही पार्टी के मंत्री पर लगाए गए आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए विपक्ष ने गौडे से इस्तीफा देने और जांच का सामना करने की मांग की है।

गोवा फॉरवर्ड के विधायक विजय सरदेसाई ने कहा, ”स्पीकर रमेश तावडकर का आरोप गंभीर है, कार्रवाई अनिवार्य है। कला और संस्कृति मंत्रालय में घोटाले के उनके आरोप और मंत्री द्वारा धन के दुरुपयोग के उनके आरोप को अत्यंत गंभीरता और ध्यान से देखा जाना चाहिए।”

सरदेसाई ने कहा, ”मैं सही साबित हुआ हूं क्योंकि मैंने खुद इस मुद्दे को पहले भी कई बार उठाया है लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। सरकार को तुरंत इस मामले की व्यापक और स्वतंत्र जांच शुरू करनी चाहिए। विधानसभा के पीठासीन अधिकारी की ऐसी तीखी टिप्पणियों से मंत्री की स्थिति अब अस्थिर हो गई है, और मैं मांग करता हूं कि वह पद छोड़ दें और जांच का सामना करें।”

कला एवं संस्कृति मंत्री पर भ्रष्टाचार में शामिल होने का आरोप लगाते हुए जीपीसीसी अध्यक्ष अमित पाटकर ने भी उनके इस्तीफे की मांग की।

पाटकर ने कहा, ”10 साल से हम बार-बार कहते आ रहे हैं कि बीजेपी सरकार भ्रष्ट है। आज विधानसभा अध्यक्ष रमेश तावडकर ने भी आरोप लगाया कि कला एवं संस्कृति मंत्री गोविंद गौडे घोटाले में शामिल हैं। उन्होंने ‘विशेष अनुदान’ का दुरुपयोग किया है, उन्हीं मंत्री पर कला अकादमी के नवीनीकरण कार्य में 90 करोड़ रुपये के भ्रष्टाचार का आरोप है। लेकिन बीजेपी उनके खिलाफ कार्रवाई करने में नाकाम रही है। वे एक भ्रष्ट मंत्री को बचा रहे हैं।”

उन्होंने कहा, “यह शायद पहला मामला होगा जिसमें स्पीकर ने अपनी ही पार्टी के किसी सदस्य को भ्रष्टाचार में शामिल होने का पर्दाफाश किया है।”

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