राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा के बाद यह पहला दीपोत्सव होगा। इस बार दीपोत्सव की भव्यता मंदिर से लेकर सरयू के तट तक नजर आएगी। 28, 29 और 30 अक्टूबर को तीन दिवसीय दीपोत्सव का आयोजन किया जाएगा, जिसमें मुख्य रूप से 30 अक्टूबर को भव्य समारोह होगा। इसकी तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। राम की पैड़ी सहित 55 घाटों पर वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाने के लिए 28 लाख से अधिक दीप जलाए जाएंगे।
दीप जलाने के लिए अवध विश्वविद्यालय से 30 हजार वालंटियर्स और झारखंड से 150 आदिवासी शामिल होंगे। अयोध्या के आसपास के गांवों के कुम्हारों से दीए एकत्र किए जा रहे हैं। स्टोर प्रभारी अतुल भारती ने बताया कि अयोध्या के विभिन्न क्षेत्रों से दीयों को जुटाने का काम तेजी से चल रहा है, और अगले कुछ दिनों में यह प्रक्रिया पूरी कर ली जाएगी। दीपोत्सव में अयोध्या के धर्मपथ और राम पथ को लाइटों से सजाया जाएगा, जिसके लिए बड़ी संख्या में इलेक्ट्रिशियन और कारीगरों को लगाया गया है।