नवरात्रि के पहले दिन मां दुर्गा के इस अवतार की पूजा, मां दुर्गा पूरी करेगी हर मनोकामना.....
आज से नवरात्रि की शुरुआत हो रही है. इन नौ दिनों में भक्ति-भाव के साथ मां दुर्गा की उपासना की जाती है. माता रानी की असीम कृपा पाने के लिए श्रद्धालु नौ दिन तक व्रत-उपवास करते हैं. नवरात्रि का यह पावन पर्व देश के विभिन्न हिस्सों में अलग-अलग ढंग से मनाया जाता है. आज भक्त मां नव दुर्गा के प्रथम स्वरुप मां शैलपुत्री की पूजा अर्चना कर रहे हैं. पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, मां शैलपुत्री पर्वतराज हिमालय और मैना देवी की पुत्री हैं.
मां शैलपुत्री की पूजा करने से व्यक्ति को चंद्र दोष से मुक्ति मिल जाती है. यह भी माना जाता है कि नवरात्रि में मां के दर्शन और पूजन से अद्भुत फल मिलता है. जातक को जीवन में सफलता मिलती है. सुख-समृद्धि की प्राप्ति होती है. इस मौके पर कई लोग घर में कलश स्थापित करते हैं और व्रत रखते हैं.
नवरात्रि के पहले दिन मां दुर्गा की पूजा करने से पहले कलश स्थापित किया जाता है. कलश को पांच तरह के पत्तों से सजाकर उसमें हल्दी की गांठ, सुपारी, दूर्वा रखी जाती है. कलश को स्थापित करने से पहले उसके नीचे बालू की वेदी बनाई जाती है जिसमें जौ बोये जाते हैं.
मान्यता है कि जौ बोने से देवी अन्नपूर्णा प्रसन्न होती हैं. नवरात्रि पूजन के समय माँ दुर्गा की प्रतिमा को पूजा स्थल के बीचों-बीच स्थापित किया जाता है और माँ की पूजा में श्रृंगार सामग्री, रोली, चावल, माला, फूल, लाल चुनरी आदि का प्रयोग किया जाता है. कई जगह पूरे नौ दिनों तक पूजा स्थल में एक अखंड दीप भी जलाया जाता है. कलश स्थापना करने के बाद गणेश जी और मां दुर्गा की आरती करते हैं.
अराधना मौर्या