पराली जलाने पर दर्जनों किसानों की प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि राशि रोकने की संस्तुति
शासन की मंशानुरूप पराली न जलाने को लेकर जिला प्रशासन पूरी तरह से सक्रिय है। जिलाधिकारी अदिति सिंह का कहना है कि पर्यावरण को बचाना हम सभी का नैतिक कर्तव्य है। इसी कड़ी में जनपद के कृषि विभाग एवम ग्राम्य विकास विभाग के कर्मचारी लगातार क्षेत्र में सक्रिय रहे और क्षेत्र में रहकर जहाँ भी पराली जलाने की घटना दिखी कर्मचारियों द्वारा तत्परता से आग को बुझाने का कार्य किया गया । बेरुआरबारी और चिलकहर विकासखण्ड के कर्मचारियों द्वारा 'पराली दो खाद लो' के तहत 10 टाली पराली भी गो आश्रय स्थल में भेजा गया । नवानगर के कर्मचारियों द्वारा अपने उपस्थिति में पराली वाले खेत मे हैपी सीड ड्रिल से बुआई कराई और किसानों को प्रदर्शन के माध्यम से इसको दिखाया भी । इसी कड़ी में प्रत्येक विकासखण्ड में पराली को सड़ाने हेतु डी कंपोजर भी निः शुल्क वितरित किया गया ।
ऐसे किसान जो बार बार सचेत करने के बाबजूद पराली जला रहे थे उनकी लिस्टिंग कर कृषि विभाग द्वारा उनकी किसान सम्मान निधि रोकने की भी संस्तुति की गई है । पराली न जलाने हेतु लगातार अभियान चलाया जा रहा है यह अभियान अनवरत जारी भी रहेगा । कोई भी हारवेस्टर मालिक यदि बिना पराली प्रबंधन यंत्र लगे धान की कटाई करेगा तो उसका हारवेस्टर सीज किया जाएगा साथ ही पराली जलाने वाले किसानों की छटनी कर उनको जुर्माना लगाया जाएगा और किसान सम्मान की धनराशि रोकने की भी संस्तुति की जाएगी ।