उत्तर प्रदेश सरकार ने दी निजी व सरकारी कर्मचारियों को बड़ी राहत-पीड़ित व्यक्तियों को मिलेगी 28 दिन की पेड लीव....

Update: 2021-04-21 12:39 GMT



उत्तर प्रदेश सरकार के लिए इस समय सबसे बड़ी चुनौती कोविड-19 के संक्रमण को रोकना है, जिस भेज पंचायत चुनाव भी एक अहम भूमिका निभाते हैं। आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश में रोज हजारों केस सामने आ रहे हैं, वहीं कई लोगों की जान भी जा रही है जिससे कि प्रदेश की हालत लगातार खराब होती जा रही है। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के बात करे तो वहां सबसे बड़ी चुनौती इस समय लोगों को ऑक्सीजन पहुंचाने की है, क्योंकि आंकड़ों के अनुसार 90% मरीज ऑक्सीजन की कमी के कारण दम तोड़ दे रहे हैं।

वहीं दूसरी तरफ मास्को सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने के लिए सड़क पर सख्ती शुरू हो चुकी है। आपको बता दें कि प्रदेश में लाइट कर्फ्यू के साथ-साथ विकेंद लॉकडाउन के बीच पंचायत चुनाव भी लगातार चल रहे हैं,जिसके लिए सरकार ने नौकरी पेशा लोगों को बड़ी राहत दी है। सरकार ने सभी निजी सरकारी कंपनियों को कोरोनावायरस से संक्रमित कर्मचारियों को 28 दिन की पेड नहीं देने की बात कहीं अधिकारियों को आदेश दिया है।

जिसके लिए सरकार ने इस संबंध में नोटिफिकेशन जारी कर दिया है इसके तहत जहां भी किसी दुकान या कंपनी में 10 से ज्यादा लोग कार्य करते हैं, उन्हें वायरस के बचाव के तरीके भी मेन गेट पर डिस्प्ले होंगे, साथ ही संक्रमित सभी लोगों को 28 दिन की पेड लीव देनी होगी। योगी सरकार ने निर्देश जारी करते हुए कहा कि जो भी दुकानें या फैक्ट्री सरकारी आदेश के बाद बंद हो चुकी है, उनके कर्मचारियों को छुट्टियों के साथ वेतन भत्ते भी दिए जाएंगे।

यदि ऐसा नहीं किया जाता है, तो ₹1000 जुर्माना देना ही होगा। यदि व्यक्ति दोबारा बिना मास्क के पकड़ा गया तो उसे ₹10000 की भारी-भरकम रकम चुकानी होगी। इतना ही नहीं सार्वजनिक स्थानों पर थूकने वालों को ₹500 का दंड भरना पड़ेगा। आपको बता दें कि इन नियमों को कोरोना महामारी अधिनियम 2020 में संशोधित करके बनाया गया है।

नेहा शाह

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